सिर दर्द सर का भारी होना और भी समस्याओं का आयुर्वेद में इलाज..
सिरदर्द होने के कई कारण होते हैं। कब्ज रहना, गैस बढ़ना, उच्च रक्तचाप होना, आँखों की ज्योति कमजोर होना, अति जागरण, अति परिश्रम, शरीर का कमजोर होना आदि कारणों से सिरदर्द होता हैं। सामान्य रूप से सिरदर्द होने पर निम्नलिखित कोई एक उपाय करना चाहिए !
अमृतधारा 4 बूँद एक बताशे पर टपका कर खाने और 2 बूँद रुमाल पर लगाकर सूँघने से सिरदर्द ठीक हो जाता है।
नींबू के पत्तों का रस निकालकर नाक में दोनों तरफ टपकाने से सिरदर्द ठीक होता है।
चंदन पानी में घिसकर माथे पर लेप करने से गर्मी के कारण होने वाले सिरदर्द में लाभ होता है।
तिल का शुद्ध तेल 250 मि.ली., चंदन का असली तेल 10 मि.ली., दाल चीनी का तेल 10 मि.ली. और कपूर 5 ग्राम इन सबको मिलाकर एक शीशी में भर लें। इस तेल को माथे पर लगाने से सिरदर्द में तुरंत आराम मिलता है।
दो चम्मच आँवला चूर्ण में एक चम्मच शुद्ध घी मिलाकर खा लें, ऊपर से एक गिलास गुनगुना दूध पी जाएँ।
रोज सुबह खाली पेट एक मीठा सेब काटकर, नमक लगाकर चबाकर खाने से पुराना सिरदर्द दूर हो जाता है। यह प्रयोग दस दिन तक लगातार करें।